MP Board Class 8th Hindi Bhasha Bharti Solutions विविध प्रश्नावली 1
वस्तुनिष्ठ प्रश्न
1. निम्नलिखित पर्यायवाची शब्दों की सही जोड़ी बनाइए
(1) निशा – (क) अमृत
(2) वीणावादिनी – (ख) विहग
(3) पक्षी – (ग) कमल
(4) सुधा – (घ) रात
(5) सरोज – (ङ) सरस्वती
उत्तर-
(क) → (4),
(ख) → (3),
(ग) → (5),
(घ) → (1),
(ङ) → (2).
2. सही विकल्प चुनिए
(1) हृदय भर आना मुहावरे का अर्थ है-
(क) प्यास बुझाना,
(ख) दुःखी होना,
(ग) खुशी होना।
उत्तर-
(ख) दुःखी होना,
(2) निम्नलिखित रचनाकारों में से किसका सम्बन्ध राजस्थान से है ?
(क) सूर,
(ख) तुलसी,
(ग) मीरा।
उत्तर-
(ग) मीरा,
(3) ‘श्रुति ईमानदार है और प्रतिभाशाली भी है।’ यह वाक्य है
(क) साधारण वाक्य,
(ख) मिश्रित वाक्य,
(ग) संयुक्त वाक्य।
उत्तर-
(ग) संयुक्त वाक्य।
3. रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए
(क) जहाज का पंछी’ शब्द कवि …………………………………….’ की कविता में प्रयुक्त हुए हैं।
(ख) आधी ताकत खींच लेने की शक्ति का वरदान राजा ……………………………………. को प्राप्त था।
(ग) छंद दो प्रकार के हैं। एक ……………………………………. छंद,दूसरा वर्णिक छन्द।
उत्तर-
(क) सूरदास,
(ख) बाली,
(ग) मात्रिक।
4. निम्नलिखित शब्द उपसर्ग जुड़कर बने हैं। इन शब्दों के उपसर्ग अलग कर निम्न तालिका में लिखिए-
प्रतिक्षण, पराजय, अभिशाप, अनुगमन, विज्ञान।
उत्तर-
MP Board Class 8th Hindi Bhasha Bharti अति लघु उत्तरीय प्रश्न
1. किस बात के मान लेने से हमारी शक्ति आधी हो जाती है?
उत्तर-
विरोधी के बल और अपने बल को तौले बिना, उसे शक्तिशाली मान लेने से हमारी शक्ति आधी हो जाती है।
2. उपमा’ अलंकार में कौन-कौन से चार अंग होते हैं ?
उत्तर-
उपमा अलंकार में चार अंग होते हैं
(1) उपमेय (प्रस्तुत),
(2) उपमान (अप्रस्तुत),
(3) साधारण धर्म,
(4) वाचक।
3. अपराजिता महिला का नाम क्या है ? ‘अपराजिता’ पाठ के आधार पर लिखिए।
उत्तर-
अपराजिता महिला का नाम डॉ. चन्द्रा है।
MP Board Class 8th Hindi Bhasha Bharti लघु उत्तरीय प्रश्न.
1. कवि वीणावादिनी से किस प्रकार का झरना बहाने के लिए आग्रह कर रहा है ?
उत्तर-
कवि वीणावादिनी से ज्योर्तिमय निर्झर (झरना) बहाने के लिए आग्रह कर रहा है। …
2. कलषु भेद से कवि का क्या आशय है ?
उत्तर-
कलुष भेद से कवि का आशय मन के विकारों को दूर (नष्ट) करने से है।
3. आत्मविश्वास बनाए रखने के लिए लेखक ने कौन-सा सूत्र बताया है ?
उत्तर-
आत्मविश्वास बनाए रखने के लिए लेखक ने सूत्र बताया है कि हम दुविधा से ऊपर उठे अर्थात् दुविधा को नष्ट कर देना चाहिए क्योंकि इससे एकाग्रता नष्ट हो जाती है। .
4. उपसर्ग और प्रत्यय में अन्तर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर-
उपसर्ग और प्रत्यय में अन्तर को, समझने के लिए इनकी परिभाषाओं को ध्यान में रखना होगा। इनकी परिभाषाएँ इस प्रकार हैं
- उपसर्ग-जो शब्दांश या ध्वनि किसी सार्थक शब्द के शुरू में जुड़कर इसके अर्थ में बदलाव कर देते हैं, उन्हें उपसर्ग कहते हैं; जैसे-प्र, परा, अप, सम आदि।
- प्रत्यय-जो शब्दांश सार्थक शब्दों के अन्त में जुड़कर नयापन या भिन्न अर्थ की उत्पत्ति करता है, वह प्रत्यय कहलाता है; जैसे-योग के बाद इक जोड़े जाने पर यौगिक शब्द बनता
MP Board Class 8th Hindi Bhasha Bharti दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
1. निम्नलिखित पंक्तियों को पढ़कर उत्तर दीजिए-
“नव गति नव लय ताल-छन्द नव।
नवल कंठ, नव जलद मन्द रव॥”
(1) उपर्युक्त पंक्तियों में कौन-सा अलंकार है ?
(2) उपर्युक्त पंक्तियाँ किस पाठ से ली गई हैं ?
(3) कविता के कवि का नाम लिखिए।
(4) ताल छन्द का क्या आशय है ?
उत्तर-
(1) उपर्युक्त पंक्तियों में अनुप्रास अलंकार है।
(2) उपर्युक्त पंक्तियाँ ‘ वर दें’ पाठ से ली गई हैं।
(3) इस कविता के कवि का नाम सूर्यकान्त त्रिपाठी ‘निराला’ है।
(4) ताल-छन्द का आशय यह है कि ‘कविता’ करने के लिए किसी भी ताल अथवा छन्द की अनिवार्यता नहीं होनी चाहिए। कविता तो सीधे हृदय से निकले भावों का उद्गार होती है। ताल और छन्द का बन्धन वहाँ नहीं होना चाहिए।
2. रचना की दृष्टि से वाक्य कितने प्रकार के हैं ? नाम लिखिए।
उत्तर-
रचना की दृष्टि से वाक्य तीन प्रकार के होते हैं
- साधारण वाक्य,
- मिश्रित वाक्य,
- संयुक्त वाक्य।
3. मुफ़्तानन्द जी का चरित्र-चित्रण कीजिए।
उत्तर-
मुफ़्तानन्द जी बिना निमन्त्रण के भी किसी के . द्वारा दिए गये भोज आदि में चले जाते हैं। वे मुफ्त खाकर मस्त रहते हैं। पैसा खर्च करना वे सीखे ही नहीं। वे अखबार पर भी खर्च नहीं करते। अपनी सन्तान की शिक्षा पर भी कोई खर्च नहीं करते। मुफ्त में प्राप्त की गई पुस्तकों में से वे अपने पुस्तकालय की शोभा बढ़ाते हैं। ‘फ्री पास’ से सिनेमा देखना वे अच्छा मानते हैं। औषधि तक वे मुफ़्त ही प्राप्त करते हैं। यहाँ तक है कि वे मुफ्त में ही अपनी मृत्यु प्राप्त करने के लिए ‘फ्री पास’ की इच्छा करते हैं।
4. तुलसीदास जी ने “अपनपौ हारे” क्यों कहा है ? समझाइए।
उत्तर-
तुलसीदास जी भगवान राम के चरणों की भक्ति छोड़कर कहीं दूसरी जगह जाना नहीं चाहते अर्थात् वे किसी दूसरे देवता की भक्ति नहीं करना चाहते। जितने भी देवता, दनुज, मुनि, नाग और मनुष्य हैं, वे सब माया के वशीभूत हैं। वे बेचारे हैं और दीन बने हए हैं। अत: वे (तुलसीदास) इनके हाथों में जाकर, अर्थात् इनकी शरण में जाकर अपनेपन का (अपने स्वाभिमान का) त्याग नहीं करना चाहते। अपने स्वाभिमान को ‘हारकर जीवन जीवित रहना अपमानजनक है, मृत्यु प्राप्त करने से भी अधिक पीड़ादायक होगा।
5. निम्नलिखित पंक्तियों को पढ़िए और मात्राएँ बताइए कि उनमें कौन-सा छन्द है ?
उत्तर-
यह दोहा छन्द है, क्योंकि जिस छन्द के विषम व सम चरणों में क्रमशः 13 और 11 मात्राएँ हों और उसके चार चरण हों तो वह दोहा छन्द होता है अर्थात् पहले और तीसरे चरण में तेरह और दूसरे तथा चौथे चरण में ग्यारह-ग्यारह मात्राएँ हों तो वह दोहा छन्द होता है।
6. निम्नलिखित शब्दों का अर्थ लिखकर वाक्यों में प्रयोग कीजिए-
नतमस्तक, आभामण्डित, रंचमात्र, जिजीविषा, जिह्वाग्र, पुष्पवेषी, यातनाप्रद।
उत्तर-
(1) नतमस्तक = सिर झुकाकर।
वाक्य प्रयोग-हमें नतमस्तक होकर नमस्कार करना चाहिए।
(2) आभामण्डित-कांति से सुशोभित।
वाक्य प्रयोग-आभामण्डित मुखमण्डल तेज बिखेर रहा था।
(3) रंचमात्र = थोड़ा-सा, तनिक-सा।
वाक्य प्रयोग-वह रंचमात्र भी अपने दुष्कर्म पर लज्जित नहीं था।
(4) जिजीविषा = जीवित रहने की इच्छा।
वाक्य प्रयोग-छोटा भी जीव विरोधी दशा में भी जिजीविषा लिए होता है।
(5) जिह्वाग्र = जीभ पर।
वाक्य प्रयोग-अपने दुश्मनों का नाम हम जिह्वाग्र पर नहीं आने देते हैं।
(6) पुष्पवेषी = फूलों का वेश बनाने वाला।
वाक्य प्रयोग-देवाङ्गनाएँ प्रायः पुष्प वेषी होती हैं।
(7) यातनाप्रद = कष्टदायक।
वाक्य प्रयोग-यातनाप्रद परिस्थितियों ने उसे निराश बना दिया।
7. आर्यभट्ट नामक उपग्रह के अतिरिक्त भारत ने और कौन-कौन से उपग्रह अंतरिक्ष में भेजे ?
उत्तर-
आर्यभट्ट के अतिरिक्त भारत ने अनेक कृत्रिम उपग्रह । अंतरिक्ष में भेजे हैं। इनमें से भास्कर – I व II, रोहिणी, ऐरियन
मैसेंजर, इण्सैट 1A; 1B, 1C, 1D, IRS-1A, 1B, इण्सेट 2A, 2B, 2C, 2D, 2E, ओसियन सेट, इण्सेट 3A, 3B, 3C, 3D, 3E, कल्पना-I, ऐड्सेट, इण्सेट -4A, 4B, 4C, 4D इत्यादि प्रमुख हैं।
8. यदि आपने कोई दर्शनीय स्थल देखा है, तो उसकी विशेषताएँ बतलाते हुए यात्रा-वृत्तान्त लिखिए।
उत्तर-
विद्यार्थी स्वयं लिखें।
9. किसी संत कवि द्वारा रचित कोई एक पद/कविता लिखिए।
उत्तर-
बसो मैरे नैनन में नंदलाल। – मोर मुकुट मकराकृति कुंडल, अरुण तिलक दिए भाल॥ मोहनि मूरति साँवरि सूरति, नैना बने बिसाल। अधर-सुधा-रस मुरली राजत, उर बैजंती-माल॥ छुद्रं घंटिका कटि-तट सोभित, नूपुर सबदं रसाल। मीरा प्रभु संतन सुखदाई, भगत बछल गोपाल॥
-मीराबाई